हैदराबाद में 13 वर्षीय लड़की की लगातार 68 दिन के उपवास रखें जाने के बाद मौत हो गई. लड़की जैन समुदाय से तालुक रखती थी. लड़की का नाम आराधना बताया जा रहा हैं और वह “चौमासा” व्रत पर थी. और उपवास तोड़ने के दो दिन बाद उसकी मौत हो गई.
अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त (उत्तर क्षेत्र) पी वाई गिरि ने कहा, ”एक स्थानीय बाल अधिकार एनजीओ ‘बलाला हक्कुला संघम’ की ओर से मार्केट पुलिस थाने में दी गई शिकायत के आधार पर भारतीय दंड संहिता की धारा 304 और किशोर न्याय कानून की धारा 75 के तहत एक मामला दर्ज किया गया है.’
आठवीं में पढ़ने वाली आराधना को उसके परिजनों ने धार्मिक गुरु की सलाह पर बिज़नेस में हो रहें नुकसान के चलते “चौमासा” व्रत कराया था. इस बारें में रविंद्र मुनिजी का कहना है कि संथारा ज्यादातर उन बुज़ुर्गों के लिए होता है जो अपनी पूरी जिंदगी जी चुके हैं और मुक्ति चाहते हैं.
परिवार का कहना है कि व्रत खोलने के दो दिन बाद आराधना बेहोश हो गई और उसे अस्पताल ले जाया गया जहां दिल का दौरा पड़ने से उसका निधन हो गया.