वौइस् हिंदी नेटवर्क | तमिलनाडु की कई बार मुख्यमंत्री रही जयललिता ने कल रात अंतिम सांस ली. जयललिता पुरे देश में ‘अम्मा’ के नाम से प्रसिद्ध थी. फिल्मो में अभिनय से शुरू हुआ उनका सफ़र अम्मा पर जाकर खत्म हुआ. पूरा तमिलनाडु अपनी अम्मा की विदाई में आंसू बहा रहा है. राजा जी हॉल में जहाँ उनका पार्थिव शरीर रखा हुआ, वहां समर्थको का तांता लगना शुरू हो गया है. खबर है की प्रधानमंत्री मोदी भी चेन्नई के लिए रवाना हो गए है.
15 साल की उम्र से फिल्मो में अभिनय कर रही जयललिता ने 1982 में AIADMK ज्वाइन किया. अगले साल ही उन्हें पार्टी का प्रोपोगेंडा सेक्रेटरी बना दिया गया. 1984 में वो राज्यसभा सांसद बनी और फिर विधानसभा सदस्य. 1989 में विधानसभा में वो तस्वीर आज भी तमिलनाडु को रुला देती है जब जयललिता विधानसभा से बाहर निकली. उनकी साड़ी फटी हुई थी और हालत बेहाल.
उस समय जयललिता ने एलान किया था की अब इस विधानसभा में मैं मुख्यमंत्री बनकर ही लौटूंगी. यह एलान विरोधियो को इतना भारी पड़ा की 1991 में वो कांग्रेस के साथ गठबंधन कर प्रदेश की मुख्यमंत्री बनी. यही से जयललिता की अम्मा बनने की शुरुआत हुई. यह पूरी योजना उन्होंने प्रदेश की कानून व्यवस्था सुधारने में लगाया वही दोबारा मुख्यमंत्री बनने पर उन्होंने जनता से जुड़ाव करना शुरू कर दिया. खासकर गरीब तबके में वो काफी पोपुलर रही.
जयललिता की कई योजनाये उन्हें लीजेंड बना गयी. अम्मा कैंटीन में 1 रूपए की इडली और 5 रूपए के चावल हो या अम्मा फार्मेसी जहाँ गरीबो को सस्ती दवाए मिलती थी. यही नही उन्होंने अम्मा सीमेंट, बेबी केयर किट जिसमे बच्चे का ख्याल रखने के लिए काफी सामान मुफ्त मिलता था, अम्मा मोबाइल में मुफ्त फ़ोन, महिलाओ को मिक्सर ग्राइंडर, गरीबो को कलर टीवी, अम्मा साल्ट, अम्मा बीज और न जाने क्या क्या योजनाये उन्होंने शुरू की.
जयललिता ने करीब 300 फिल्मो में काम किया था. वो पांच भाषाए जानती थी. भरतनाट्यम में वो काफी निपुण थी. प्रसिद्धि के साथ साथ जयललिता के साथ विवाद भी काफी जुड़े. चाहे कलर टीवी खरीदने में भ्रष्टाचार का आरोप हो या उनके दत्तकपुत्र सुधाकरण की शादी में बेहिसाब खर्चा करना. कहते है जब 1996 में उनके घर छापा पड़ा तो उनके घर से 10 साडी, 750 चप्पल और 28 किलो सोना बरामद हुआ था.