जीएसटी लागु होते ही महंगाई ने उठाया सर, जुलाई महीने में बढ़ी महंगाई

नई दिल्ली | 1 जुलाई को पुरे देश में एक कर व्यवस्था जीएसटी लागु कर दिया गया. फ़िलहाल इसको लागु हुए डेढ़ महीना हो चूका है लेकिन अभी तक भी इसको लेकर ग्राहकों और व्यापारियों में संसय की स्थिति बनी हुई है. कही पर तो व्यापारी इसका फायदा उठाकर एमआरपी पर जीएसटी लगाकर ग्राहकों को चुना लगाने का काम कर रहे है. फ़िलहाल मोदी सरकार जीएसटी को अपनी उपलब्धि के रूप में देख रही है लेकिन लोगो के लिए यह सरदर्द साबित हो रहा है.

उधर जैसे की आशंका थी, जीएसटी लागु होने के बाद महंगाई बढ़नी शुरू हो गयी है. जुलाई महीने थोक और खुदरा महंगाई में उछाल देखने को मिला है. जो केंद्र सरकार के लिए मुसीबत का कारण बन सकता है. इस चुनौती से निपटने के लिए सरकार कितनी तैयार है यह आने वाले समय में ही पता चलेगा. हालाँकि सरकार बार बार दावा करती रही है की जीएसटी से महंगाई नही बढ़ेगी क्योकि रोजमर्रा में इस्तेमाल होने वाली ज्यादातर चीजो को 0 या 5 फीसदी के टैक्स स्लैब में रखा गया है.

लेकिन सरकार के सभी दावों को धात बताते हुए महंगाई ने बाजी मार ली. ताजा रिपोर्ट के अनुसार जुलाई महीने में थोक महगाई बढ़कर 1.88 फीसदी पर चली गयी जबकि खुदरा महंगाई दर बढकर 2.36 फीसदी पर आ गयी. जबकि अगर जून महीने की बात करे तो उस महीने में थोक महंगाई 0.90 फीसदी थी जबकि इसी महीने में खुदरा महंगाई 1.46 फीसदी थी. इस तरह दोनों ही तरह की महंगाई में करीब एक फीसदी की वृद्धि दर्ज की गयी है.

अगर पिछले साल जुलाई महीने की बात करे तो उस समय थोक महंगाई 0.63 फीसदी तो खुदरा महंगाई 6.07 फीसदी पर थी. थोक महंगाई में खाद वस्तुओ की महगाई दर की बात करे तो यह पिछले दो महीने से शून्य से भी नीचे चल रही थी लेकिन जीएसटी लागु होते ही यह बढाकर 2.15 फीसदी पर आ गयी. जानकारों का मानना है की सब्जियों के दामो में हुई बढ़ोतरी की वजह से दर बढ़ी है. क्योकि अकेले सब्जियों की महगाई दर की बात करे तो जुलाई महीने में यह 21 फीसदी पर रही.

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