अलीगढ | काशी हिन्दू विश्वविधालय (बीएचयू) में छेड़छाड़ के विरोध में प्रदर्शन कर रही छात्राओं पर पुलिस लाठीचार्ज की कार्यवाही ने पुरे देश में रोष व्याप्त कर दिया है. लोगो योगी सरकार और प्रधानमंत्री मोदी को कार्यवाही के लिए जिम्मेदार ठहरा रहे है. वही विपक्षी दल भी इस मुद्दे को लेकर सडको पर उतर गया है. उनका कहना है की ‘बेटी बचाओ’ का नारा देनी वाली पार्टी की सरकार में बेटी पर लाठिया बरसाई जा रही है.
फ़िलहाल इस मामले में चारो और से आलोचना का सामना कर रही योगी सरकार ने घटना की जांच के आदेश दे दिए है. लेकिन अब बीएचयु छात्राओं के समर्थन में अलीगढ मुस्लिम यूनिवर्सिटी की छात्राए भी सामने आ गयी है. सोमवार को एएमयू की छात्राओं ने सड़क पर उतर पुलिस कार्यवाही की निंदा की और इसके लिए प्रदेश सरकार और स्थानीय प्रशासन को जिम्मेदार ठहराया. इसके अलावा छात्राओं ने राष्ट्रपति को ज्ञापन भेज मामले में हस्तक्षेप करने की मांग की.
सोमवार को एएमयु की सैकड़ो छात्राओं ने सड़क पर उतर बीएचयु की घटना के खिलाफ प्रदर्शन किया. प्रदर्शन का प्रतिनिधित्व कर रही एक छात्रा ने मीडिया से बात करते हुए कहा की बीएचयु में छात्राओं के ऊपर हुई लाठीचार्ज की घटना बेहद निंदनीय है. ऐसी सदमे की स्थिति में सभी एएमयु की छात्राए उनके साथ है. हम अपनी बहनों को कभी अकेला नही छोड़ेंगी. प्रदर्शन के बाद छात्राओं ने जिला प्रशासन को एक ज्ञापन भी सौंपा.
राष्ट्रपति को भेजे गए इस ज्ञापन में छात्राओं ने मामले में हस्तक्षेप करने की मांग की. उधर दिल्ली में भी पुलिस ज्यादती के विरोध में एनएसयुआई के कार्यकर्ताओ ने प्रदर्शन किया. इस दौरान उन्होंने मोदी और योगी के खिलाफ नारे भी लगाए. उनका कहना था की वाराणसी में होने के बावजूद मोदी ने प्रदर्शन कर रही छात्राओ से मुलाक़ात नही की. अगर वो ऐसा करते तो शायद यह नौबत ही नही आती. इसलिए इसके लिए कही न कही मोदी भी जिम्मेदार है.