कुवैत में ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन में भरी जुर्माने के साथ-साथ मोबाइल यूजर्स को व्हाट्सएप, फेसबुक उल्लंघन करने पर भरी जुर्माना देना पढ़ सकता है. ऐसे ही एक खबर कुवैत की एक महिला की सामने आई हैं जिन्होंने अपने दोस्त को व्हाट्सएप पर अपमानजनक मैसेज किया और वह दंग तब हो गयी जब उनको इस मैसेज करने का नतीजा $10,000 जुर्माना मिला.
“तुम्हे कोई शर्म नहीं है क्या? तुम्हारे माँ पिता तुम्हे सही राह लाने में नाकाम रहे.” यह महिला द्वारा किया हुआ मैसेज दोस्त को भेजा और उसके दोस्त ने यह देश के साइबर क्राइम ब्यूरो में इसकी रिपोर्ट लिखवा दी.
सोशल मीडिया पर इस खबर के वायरल होने पर लोगों की प्रतिक्रियाएं
تغريم فتاة مبلغ 3000 دينار بعدما أشتكت عليها صديقتها بأنها قد كتبت لها ” ما تستحين وأهلج ما ربوج ” في الوتس اب pic.twitter.com/LP3DznMgsT
वह यह सब के लायक है.
— جريدة الأخبار الإلكترونية ?? (@alnewskw) November 26, 2017
تغريم فتاة مبلغ 3000 دينار بعدما أشتكت عليها صديقتها بأنها قد كتبت لها «ما تستحين وأهلج ما ربوج» في الوتساب pic.twitter.com/IUOp2Tkus4
क्योंकि उसने, यह तुम्हारे माता पिता की बेज्जती की है.
— عاجل ?? (@NewsKuwaity) November 27, 2017
تغريم فتاة مبلغ 3000 دينار بعدما أشتكت عليها صديقتها بأنها قد كتبت لها «ما تستحين وأهلج ما ربوج» في الوتس آب. pic.twitter.com/EcwJ6xf9Gz
— المجلس ?? (@Almajlliss) November 26, 2017
اجل شد حيلك من باجر??
अगर मैं अपने दोस्तों के खिलाफ मामला दर्ज करता हूँ तो मैं अल वालिद बिन तलाव बन जाऊंगा— ???? (@Ma12_mm) November 26, 2017
تغريم فتاة مبلغ 3000 دينار بعدما أشتكت عليها صديقتها بأنها قد كتبت لها «ما تستحين وأهلج ما ربوج» في الوتس آب. pic.twitter.com/EcwJ6xf9Gz
मुझे कितना मिलेगा अगर मै रिपोर्ट करूँ तो— المجلس ?? (@Almajlliss) November 26, 2017
व्हाट्सएप पर अपमान करना खाड़ी देशो में एक अपराध है.
पिछले महीने ऐसी ही एक घटना में सऊदी न्यायाधीश ने दो महिलाओं को मैसेजिंग ऐप के माध्यम से एक दूसरे का अपमान करने पर 10 कोड़े की सजा सुनाई हैं.
खबरों के मुताबिक हाल के महीनों में ऐसे अपराध बढ़ रहे हैं, साथ ही पिछले 6 महीनों में 220 से अधिक सामाजिक मीडिया अपराधों की सूचना मिली है.
व्हाट्सएप पर शपथ लेना भी अमीरात में अपराध है. जो मुसीबतों में डाल सकता है.
UAE’s 2012 cybercrime law, के अनुसार अमीरात में सोशल मीडिया पर किसी ने इस्लाम, नैतिकता और अच्छे आचरण के प्रति “अपमानजनक” कहा तो उस पर मुकदमा चलाया जा सकता है, इसमें निंदा भी शामिल है.