आज दिन भर से जो खबर मीडिया में सबसे अधिक चल रही है वो है की एक हिन्दू बुज़ुर्ग (गोकुलदास) ने अपने घर के बाहर बैठ कर चावल खा लिया था, जबकि इफ्तारी 40 मिनट बाद होनी थी। इस बात को लेकर स्थानीय पुलिसकर्मी मीर हसन हैद्रानी ने डंडे से गोकुलदास की ज़ोरदार पिटाई कर दी. पुलिस की पिटाई से गोकल दास का हाथ खून से सन गया है। गोकल दास की पिटाई के बाद फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया।
मामला पाकिस्तान के पंजाब प्रांत का है जहाँ घोटकी जिले में गोकुलदास का घर है वहीँ ये घटना हुई. मीर हसन द्वारा पीटे जाने से गोकुलदास का हाथ खून से सन गया तथा उस फोटो को सोशल मीडिया पर प्रकाशित कर दिया गया. बस इसके बाद पकिस्तान का नज़ारा ही बदल गया. देखते ही देखते #Justice4GokalDas हैशटैग सोशल मीडिया पर ट्रेंड करने लगा. पाकिस्तान की जनता ने पुलिस अधिकारीयों को कोसना शुरू कर दिया जिस कारण पुलिस ने तुरंत एक्शन लिया और उस पुलिस अफसर को गिरफ्तार कर लिया गया है.
A policeman in #Ghotki beat up an elderly Hindu man 4 eating before iftar. The policeman has been arrested #ZeroTolerance #Justice4GokalDas
— Bakhtawar B-Zardari (@BakhtawarBZ) 11 जून 2016
ChachaGokalDas beaten by police Mir Hussain Hydrani 4 eating outside his home#Justice4GokalDas
Is dis #RonaqERamzan pic.twitter.com/judTZNfXgF— હૈદર રશીદ અબ્દુલ્લા (@HyderKhojaa) 11 जून 2016
This is now the level of tolerance in Sindh, the so-called land of Sufis:
We stronly condemn this #Justice4GokalDas pic.twitter.com/3CbWTIkLCw— Ihtisham ul haq (@iihtishamm) 11 जून 2016
#Justice4GokalDas pic.twitter.com/6ruvr92GCw
— Ayaz Buriro (@AyazBuriroPPP) 11 जून 2016
खबर लम्बी हो जाने के कारण बस 2-4 ट्वीट ही लगाये गए है लेकिन साफ़ देख सकते है की किस तरह इस मामले ने टूल पकड़ा खुद बख्तावर ज़रदारी ने इस घटना को लेकर जनता को शांत कराया की आरोपी गिरफ्तार किया जा चूका है.
आज ये खबर मीडिया में चल रही है लेकिन कुछ दुसरे रूप लेकर, पहले पकिस्तान और वहां की जनता को खूब कोसा जा रहा है फिर लास्ट लाइन में लिखा जा रहा है की “सोशल मीडिया पर चर्चा के कारण पुलिसकर्मी गिरफ्तार कर लिया गया”.
शायद ये घटना पाकिस्तान के लिए नयी हो लेकिन हमारे देश के लिए नई नही है यहाँ पुलिस कर्मी रोजेदार को पिशाब पिलाने की धमकी देकर मारते पीटते है .. क्या रोजेदारों को इन्सान दिलाने में हमारा देश भी एक हो सकता है?